आरोपियों की तलाश में जुटी जीआरपी और सिविल पुलिस
मांझी पुल से 300 मीटर पूर्व रेलवे ट्रैक पर रखा था बोल्डर
बलिया। छपरा रेलखंड पर मांझी पुल से 300 मीटर पूर्व रेलवे ट्रैक पर पत्थर रखकर लखनऊ-छपरा एक्सप्रेस को पलटाने की कोशिश मामले में अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई है।पीडब्ल्यूआई अशोक कुमार की तहरीर पर बैरिया पुलिस ने इस मामले में अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने के बाद तहकीकात शुरू कर दी। बता दे कि शनिवार को मांझी पुल से करीब 300 मीटर पहले 28/25 व 18/27 इलेक्ट्रिक पोल के बीच पत्थर का बोल्डर रेलवे ट्रैक पर रखकर लखनऊ-छपरा एक्सप्रेस को पलटाने की कोशिश की गई थी.
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चालक की सूझबूझ से बड़ा हादसा होने से बच गया। वही ट्रेन सुरक्षा गार्ड के कारण पत्थर को पीसती हुई आगे बढ़ गई। अन्यथा बड़ा हादसा हो सकता था। इस मामले में अफसरों ने छपरा जंक्शन पर लखनऊ-छपरा एक्सप्रेस के लोको इंस्पेक्टर अमित कुमार से भी जानकारी हासिल की। इसके बाद डाग स्क्वायड के साथ टीम ने घटनास्थल की जांच की। पुलिस, जीआरपी व आरपीएफ बलिया और छपरा की स्पेशल टीमें ट्रैक पर पत्थर रखने वालों की तलाश में जुट गई हैं।इसी के साथ ट्रेन हादसे की साजिश रचने वालों की तलाश में यूपी -बिहार के तटवर्ती गांवों में पुलिस की सक्रियता बढ़ गई है.
बताया जा रहा है कि मांझी के लोग पुल से होकर यूपी में घूमने आते हैं। घटना वाले दिन भी सुबह तीन- चार की संख्या में कुछ युवक दिखेे थे। लखनऊ- छपरा एक्सप्रेस गुजरने से करीब आधे घंटे पूर्व बलिया-सियालदह गुजरी थी। तब ट्रैक पर पत्थर नहीं रखा था। अगर पत्थर रहता तो सियालदह एक्सप्रेस से भी टकराया होता। इस पहलुओं पर पुलिस पड़ताल कर रही है। सीओ मो. उस्मान के मुताबिक इस मामले में केस दर्ज कर आरोपियों की तलाश की जा रही है।
बंधे पर लगाने वाले बोल्डर को रखा था ट्रैक पर
बलिया। बकुलहा-मांझी रेलखंड पर सरयू नदी के रेल पुल के पहले कटान से बंधे को बचाने के लिए लगाए जाने वाले बोल्डर को बदमाशों ने ट्रैक पर रखा था। हालांकि इंजन के अगले हिस्से में लगने वाले सुरक्षा गार्ड से पत्थर टकराकर छोटे -छोटे टुकड़ों में बिखर गया था। जांच टीम को घटनास्थल से पत्थर के दो टुकड़े पड़े मिले हैं। घटना के बाद आरपीएफ, जिला पुलिस व पीडब्ल्यूडी की टीमें रेलवे ट्रैकों की निगरानी कर रही हैं। आरपीएफ ने इस रेल खंड को छह जोन में बांट कर ट्रैक के किनारे की बस्तियों में रहने वालों लोगों को जागरूक करने का अभियान शुरू कर दिया है। आरपीएफ प्रभारी बीके सिंह ने बताया कि रेलवे ट्रैक पर लोहे या पत्थर की वस्तु रखने या पटरी को नुकसान करने के मामले में आजीवन सजा का प्रावधान है।
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